जालन्धर लिट्रेरी फोरम ने गांधी जयंती की पूर्व संध्या पर महात्मा की आत्माकथा पर वार्ता facebook page पर प्रसारित की

                       जालन्धर/मेट्रो समाचार सेवा

महात्मा गांधी जयंती की पूर्व संध्या पर जालन्धर लिट्रेरी फोरम ने महात्मा गांधी आत्मकथा” दी स्टोरी ऑफ माय एक्सपेरिमेंट विद ट्रुथ” पर विशेष वार्ता का आयोजन किया।

वार्ता का सीधा प्रसारण फोरम के facebook पेज  बुक रैक ग्रुप में किया गया। इस विशेष वार्ता में इस पुस्तक पर कनाडा निवासी शैली तेजा जो कि एक समर्पित बुक रीडर और स्कॉलर हैं, ने पुस्तक की विषय वस्तु व इसके प्रभाव से उनके निजी जीवन में आये परिवर्तन के अनुभव सांझा किये । फोरम के संयोजक नवजोत सिंह एडवोकेट वार्ता के मेजबान थे।

शैली तेजा ने एक्सक्लूसिव टॉक में अवगत कराया कि पुस्तक सत्य के प्रयोग की एक उत्कृष्ट कृति है और चबाने और पचाने वाली पुस्तक है। पुस्तक में, गांधी ने भौतिक, वैज्ञानिक और राजनीतिक अनुभवों से युक्त लगभग 105 प्रयोग लिखे।

शैली तेजा ने कहा कि वह कोशिश की है कि इन प्रयोगों को वह अपने जीवन में लागू करें और पुस्तक पढ़ने के बाद वह शुद्ध शाकाहारी बन गए हैं।

उन्होंने आगे कहा कि गांधी आज भी बहुत प्रासंगिक हैं और कनाडा  अमेरिका जैसे देशों में उनके अनुयायी हैं। उन्होंने दर्शकों से एक और पुस्तक पढंने की सिफारिश की ” व्हाट वुड गाँधी डू? उन्होंने कहा कि पम्मी कौर द्वारा लिखित यह पुस्तक पढ़ने योग्य है। शैली ने कहा कि गांधी जी को कोसना एक गलत प्रवृत्ति है और वह अफवाहों और सुनी सुनाई बातो पर आधारित है। इसलिए उनकी किताबें पढ़नी चाहिए, विशेष रूप से उनकी आत्मकथा, तब गांधी जी के व्यक्तित्व के बारे में निर्णय ले ।

वरिष्ठ पत्रकार राकेश शांतिदूत इस वार्ता के निदेशक थे और दिनेश मल्होत्रा ​​सह-निदेशक थे। फोरम के संयोजक नवजोत सिंह ने शैली तेजा को अपना बहुमूल्य समय और वार्ता  के लिए धन्यवाद दिया। अंत में फोरम की ओर से राकेश शांतिदूत फोरम के सह संयोजक ने शेलीतेजा को पुस्तक भेंट की।

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